29 मार्च 2025

दैनिक भास्कर फैमिली क्विज: 30 मार्च 2025 - सवालों के विस्तृत उत्तर और पिछली क्विज के जवाब

भास्कर फैमिली क्विज - 123 के सवाल 30 मार्च 2025

अब आप क्विज में आज रात 12 बजे तक शामिल हो सकते हैं।

Q-1. श्रीराम का दूत बनकर लंका में रावण के पास इनमें से कौन गए थे?

  • (A) अंगद
  • (B) हनुमान
  • (C) सुग्रीव
  • (D) जटायु

सही जवाब: (A) अंगद

Q-2. नोबेल पुरस्कार से सम्मानित प्रसिद्ध पुस्तक 'गीतांजलि' के रचनाकार कौन हैं?

  • (A) बंकिम चंद्र चटर्जी
  • (B) रामधारी सिंह दिनकर
  • (C) महादेवी वर्मा
  • (D) रवींद्र नाथ टैगोर

सही जवाब: (D) रवींद्र नाथ टैगोर

Q-3. दश्त-ए-मार्गो जिसे मृत्यु का मरुस्थल भी कहा जाता है, किस देश में स्थित है?

  • (A) कजाखस्तान
  • (B) सऊदी अरब
  • (C) चीन
  • (D) अफगानिस्तान

सही जवाब: (D) अफगानिस्तान

Q-4. प्रसिद्ध फिल्म 'स्लमडॉग मिलियनेयर' इनमें में से किसके द्वारा निर्देशित की गई है?

  • (A) डैनी बॉयल
  • (B) एसएस राजामौली
  • (C) वी रजवान
  • (D) रामगोपाल वर्मा

सही जवाब: (A) डैनी बॉयल

Q-5. इनमें से अब किसे ग्रह नहीं माना जाता है?

  • (A) मंगल
  • (B) प्लूटो
  • (C) यूरेनस
  • (D) नेपच्यून

सही जवाब: (B) प्लूटो


भास्कर फैमिली क्विज - 122 के जवाब

प्रश्न 1 सही जवाब : (A) सम्राट अशोक

प्रश्न 2 सही जवाब : (A) जम्मू-कश्मीर

प्रश्न 3 सही जवाब : (B) हरिलाल जे. कानिया

प्रश्न 4 सही जवाब : (A) जिनेवा

प्रश्न 5 सही जवाब : (C) विष

दैनिक भास्कर फैमिली क्विज: 23 मार्च 2025 - आज के सवाल और पिछले क्विज के जवाब

आज का क्विज (भास्कर फैमिली क्विज-122)

क्विज में भाग लेने के लिए, आप यहां दिए गए क्यूआर कोड को स्कैन कर सकते हैं या 8770592563 नंबर पर QUIZ लिखकर वॉट्सअप भेज सकते हैं। लिंक खुलने पर सवालों के जवाब दीजिए।

पांचों सवालों के सही जवाब देकर आप बन सकते हैं भाग्यशाली विजेता और जीत सकते हैं 2,100 रुपए तक के आकर्षक उपहार!

तो देर किस बात की? क्विज में भाग लेने की आज रात 12 बजे तक की अंतिम तिथि है!

भास्कर फैमिली क्विज - 122 के सवाल:

  1. सांची का स्तूप किसने बनवाया था?

    1. सम्राट अशोक
    2. पुष्यमित्र
    3. बिम्बिसार
    4. हर्षवर्धन

    उत्तर: (A) सम्राट अशोक

  2. भारत का इनमें से वह राज्य कौन सा है, जहां केसर का सर्वाधिक उत्पादन होता है?

    1. जम्मू - कश्मीर
    2. केरल
    3. बिहार
    4. सिक्किम

    उत्तर: (A) जम्मू - कश्मीर

  3. स्वतंत्र भारत के पहले मुख्य न्यायाधीश कौन थे?

    1. मेहरचंद महाजन
    2. हरिलाल जे. कानिया
    3. सुधीरंजन दास
    4. विलियम पैट्रिक

    उत्तर: (B) हरिलाल जे. कानिया

  4. डब्ल्यूटीओ का मुख्यालय कहां है?

    1. जिनेवा
    2. दोहा
    3. उरुग्वे
    4. न्यूयॉर्क

    उत्तर: (A) जिनेवा

  5. समुद्र मंथन से उत्पन्न कालकूट क्या था?

    1. अमृत
    2. क्षीर
    3. विष
    4. खोर

    उत्तर: (C) विष

भास्कर फैमिली क्विज - 121 के जवाब:

  • प्रश्न 1 सही जवाब: (B) प्राण शमों
  • प्रश्न 2: (A) उदयपुर
  • प्रश्न 3: (A) बेलारूस
  • प्रश्न 4: (A) कव्वाली
  • प्रश्न 5: (C) त्रिपुरा

और 10 भाग्यशाली विजेता:

ऐश्वर्या चौहान (XXXXX94406), चंद्रशेखर तिवारी (XXXXX15817), गीत देवी (XXXXX51951), मामराज कुमावत (XXXXX18418), मोतीलाल मेडिया (XXXXX40370), राकेश (XXXXX65397), रितिका (XXXXX28425), सौरव जैन (XXXXX76659), शिवानी (XXXXX73493), आईदानराम चौधरी (XXXXX92808)।

(लकी विनर्स से दैनिक भास्कर की टीम संपर्क करेगी)

तो दोस्तों, आज ही भाग लीजिए भास्कर फैमिली क्विज में और बन जाइए अगले भाग्यशाली विजेता! अपनी प्रतिक्रियाएं नीचे कमेंट सेक्शन में जरूर बताएं।

धन्यवाद!

सवाल:

  1. प्रसिद्ध कामिक चरित्र 'चाचा चौधरी' किसकी रचना है?
    • (A) रोहाब
    • (B) प्राण शर्मा
    • (C) आबिद सुरती
    • (D) नीरद
  2. इनमें से कौन सा भारतीय शहर पिछोला झील के किनारे स्थित है?
    • (A) उदयपुर
    • (B) रांची
    • (C) अहमदाबाद
    • (D) आगरा
  3. इनमें से किस देश की राजधानी मिंस्क है?
    • (A) बेलारूस
    • (B) एरिट्रिया
    • (C) बेलीज
    • (D) बोलीविया
  4. साबरी ब्रदर्स किस कला के लिए प्रसिद्ध थे?
    • (A) कव्वाली
    • (B) नाटक
    • (C) भरत नाट्यम
    • (D) वॉयलिन
  5. रोवा वन्यजीव अभयारण्य इनमें से किस प्रदेश में स्थित है?
    • (A) राजस्थान
    • (B) केरल
    • (C) त्रिपुरा
    • (D) उड़ीसा

पिछले क्विज के जवाब (भास्कर फैमिली क्विज-120)

यहां भास्कर फैमिली क्विज-120 के सही जवाब दिए गए हैं:

  • प्रश्न 1: सही जवाब: (D) यूरी गगारिन
  • प्रश्न 2: सही जवाब: (D) राजस्थान
  • प्रश्न 3: सही जवाब: (A) बंकिमचंद्र चटर्जी
  • प्रश्न 4: सही जवाब: (B) कुंभलगढ़ की दीवार
  • प्रश्न 5: सही जवाब: (B) फ्रांस

तो दोस्तों, जल्दी कीजिए और आज रात 12 बजे से पहले भास्कर फैमिली क्विज में भाग लीजिए और जीतिए रोमांचक उपहार!

शुभकामनाएं!

दैनिक भास्कर फैमिली क्विज: 16 मार्च 2025 - सवालों के विस्तृत उत्तर और पिछली क्विज के जवाब

नमस्ते दोस्तों, दैनिक भास्कर आपके लिए 16 मार्च 2025 को एक रोमांचक "फैमिली क्विज" लेकर आया है, जो हर रविवार को रसरंग में प्रकाशित होता है। इस क्विज में भाग लेकर आप भी आकर्षक उपहार जीत सकते हैं! आज के क्विज में सामान्य ज्ञान से जुड़े पांच दिलचस्प सवाल पूछे गए हैं। आइए, इन सवालों के सही जवाबों और उनसे जुड़ी विस्तृत जानकारी पर एक नजर डालते हैं। साथ ही, पिछली क्विज के जवाब भी यहां दिए गए हैं।

आज का क्विज (भास्कर फैमिली क्विज-121) के विस्तृत उत्तर

सवाल 1: प्रसिद्ध कामिक चरित्र 'चाचा चौधरी' किसकी रचना है?

सही उत्तर: (B) प्राण शर्मा

'चाचा चौधरी' भारतीय कॉमिक्स जगत का एक प्रतिष्ठित और प्रिय चरित्र है। इस श्रृंखला की रचना दिवंगत कार्टूनिस्ट प्राण कुमार शर्मा ने की थी, जिसका पहला प्रकाशन 1971 में हिंदी पत्रिका 'लोटपोट' में हुआ था 1। यह कॉमिक बच्चों के साथ-साथ बड़ों के बीच भी बहुत जल्द लोकप्रिय हो गई 2। प्राण कुमार शर्मा, जिन्हें प्यार से प्राण कहा जाता था, ने 'चाचा चौधरी' के अलावा 'श्रीमतीजी', 'पिंकी', 'बिल्लू', 'रमन' और 'छन्नी चाची' जैसे कई अन्य यादगार पात्रों को भी बनाया 1।

प्राण साहब ने इस लोकप्रिय चरित्र के प्रेरणा स्रोत के बारे में बताते हुए कहा था कि हर परिवार में एक बुद्धिमान बुजुर्ग होता है, जो अपनी सामान्य समझ और अनुभव से मुश्किलों को हल करता है, लेकिन हास्यपूर्ण अंदाज में। यही हास्य उनके बनाए कार्टूनों का आधार है 1। 'वर्ल्ड एनसाइक्लोपीडिया ऑफ कॉमिक्स' में प्राण को 'भारत का वॉल्ट डिज़्नी' कहना उनकी रचनात्मक क्षमता और लोकप्रियता का प्रमाण है 1। 'चाचा चौधरी' की लोकप्रियता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि यह कॉमिक्स हिंदी और अंग्रेजी के साथ-साथ दस अन्य भारतीय भाषाओं में भी प्रकाशित हुई और इसकी दस करोड़ से अधिक प्रतियां बिकीं 3।

प्राण कुमार शर्मा का जन्म 1938 में लाहौर में हुआ था, और विभाजन के बाद उनका परिवार मध्य प्रदेश के ग्वालियर में रहने लगा। उन्होंने मुंबई के जेजे आर्ट्स कॉलेज से फाइन आर्ट में डिग्री हासिल करने के साथ-साथ ग्वालियर से बीए और दिल्ली से राजनीति विज्ञान में एमए भी किया था 3। पब्लिशिंग हाउस 'डायमंड कॉमिक्स' ने उनके कार्टूनों को प्रकाशित करके उन्हें घर-घर में पहचान दिलाई 5। 'चाचा चौधरी' की अपार लोकप्रियता उस समय भारतीय पाठकों के बीच हास्य और मनोरंजन की गहरी आवश्यकता को दर्शाती है, जिसे प्राण ने बखूबी पूरा किया। उनकी रचना एक ऐसे बुद्धिमान बुजुर्ग के इर्द-गिर्द घूमती है जो भारतीय संस्कृति और पारिवारिक मूल्यों को दर्शाता है, जिससे यह चरित्र हर पीढ़ी के लिए प्रासंगिक बना रहा।

सवाल 2: इनमें से कौन सा भारतीय शहर पिछोला झील के किनारे स्थित है?

सही उत्तर: (A) उदयपुर

उदयपुर, जिसे अक्सर "झीलों की नगरी" या "पूर्व का वेनिस" कहा जाता है, राजस्थान का एक खूबसूरत शहर है जो अरावली की पहाड़ियों से घिरा हुआ है। यह शहर अपनी ऐतिहासिक इमारतों, महलों और विशेष रूप से झीलों के लिए प्रसिद्ध है। पिछोला झील उदयपुर की सबसे पुरानी और सबसे बड़ी कृत्रिम झीलों में से एक है, जिसके किनारे यह शहर बसा हुआ है 6। इस झील का निर्माण 1362 में महाराणा लाखा के शासनकाल में पिच्छू बंजारा नामक एक व्यक्ति ने करवाया था, और बाद में महाराणा उदयसिंह द्वितीय ने इस शहर की खोज के बाद झील का विस्तार कराया 8।

पिछोला झील के मध्य में स्थित प्रसिद्ध लेक पैलेस उदयपुर के सबसे आकर्षक स्थलों में से एक है, जिसकी सुंदरता विश्व भर में विख्यात है 6। झील में दो खूबसूरत द्वीप हैं, जिन पर जग निवास (अब लेक पैलेस होटल के रूप में जाना जाता है) और जग मंदिर बने हुए हैं। ये दोनों महल राजस्थानी वास्तुकला की उत्कृष्ट कारीगरी का प्रदर्शन करते हैं और नाव द्वारा इन तक आसानी से पहुंचा जा सकता है 9। झील के पूर्वी किनारे पर भव्य सिटी पैलेस स्थित है, जो अपनी विशालता और ऐतिहासिक महत्व के लिए जाना जाता है 6। आज के समय में पिछोला झील पर्यटकों के लिए एक प्रमुख आकर्षण है, जहाँ वे बोट राइडिंग का आनंद लेते हैं और झील के किनारे स्थित महलों और इमारतों की सुंदरता का अनुभव करते हैं 7। उदयपुर की पहचान पिछोला झील से अटूट रूप से जुड़ी हुई है, जो न केवल एक महत्वपूर्ण पर्यटन स्थल है बल्कि शहर की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत का भी प्रतीक है। इस झील का निर्माण और विस्तार तत्कालीन शासकों के दूरदृष्टि और जल संरक्षण के महत्व को दर्शाता है, जिसने शहर के विकास और सौंदर्य को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित किया।

सवाल 3: इनमें से किस देश की राजधानी मिंस्क है?

सही उत्तर: (A) बेलारूस

मिंस्क पूर्वी यूरोप में स्थित बेलारूस देश की राजधानी और सबसे बड़ा शहर है 11। यह शहर स्विस्लाच और नियामिहा नदियों के संगम पर बसा हुआ है 11। 2013 के आंकड़ों के अनुसार, मिंस्क की आबादी 2,002,600 थी, जो इसे बेलारूस का सबसे अधिक आबादी वाला शहर बनाती है 13। बेलारूस, जो कभी सोवियत संघ के विघटन से पहले 'बेलोरूसिया' के नाम से जाना जाता था, पूर्वी यूरोप का एक भू-आबद्ध देश है। इसकी सीमाएं उत्तर-पूर्व में रूस, दक्षिण में यूक्रेन, पश्चिम में पोलैंड और उत्तर-पश्चिम में लिथुआनिया और लातविया से मिलती हैं 12।

1919 से 1991 तक सोवियत संघ के शासन के दौरान मिंस्क बेलारूसी सोवियत समाजवादी गणराज्य की राजधानी रहा। 1991 में सोवियत संघ के विघटन के बाद बेलारूस एक स्वतंत्र राष्ट्र बना, और मिंस्क को इसकी राजधानी के रूप में बरकरार रखा गया 11। ऐतिहासिक रूप से, मिंस्क का उल्लेख पहली बार 1067 में 'मेनेस्क' के रूप में मिलता है 11। बेलारूस का सोवियत संघ के साथ ऐतिहासिक संबंध रहा है, और मिंस्क ने इस अवधि के दौरान एक महत्वपूर्ण प्रशासनिक और सांस्कृतिक केंद्र के रूप में कार्य किया। आज, यह शहर बेलारूस की राजनीतिक, आर्थिक और सांस्कृतिक गतिविधियों का केंद्र है।

सवाल 4: साबरी ब्रदर्स किस कला के लिए प्रसिद्ध थे?

सही उत्तर: (A) कव्वाली

साबरी ब्रदर्स पाकिस्तान के मशहूर कव्वाल थे, जो अपनी सूफी गायन शैली कव्वाली के लिए विश्व प्रसिद्ध हुए 14। इस सूफी कव्वाली पार्टी की स्थापना दिवंगत हाजी गुलाम फरीद साबरी और उनके छोटे भाई दिवंगत हाजी मकबूल अहमद साबरी ने मिलकर की थी 14। साबरी ब्रदर्स पहले कव्वाली कलाकार थे जिन्होंने संयुक्त राज्य अमेरिका और अन्य पश्चिमी देशों में अपनी कला का प्रदर्शन किया। वे 1975 में न्यूयॉर्क के कार्नेगी हॉल में प्रदर्शन करने वाले पहले एशियाई कलाकार भी बने 14। इन भाइयों ने उत्तर भारत और पाकिस्तान में लोकप्रिय कव्वाली को दुनिया भर में पहचान दिलाई 14।

गुलाम फरीद साबरी के बेटे अमजद फरीद साबरी ने भी अपने परिवार की विरासत को आगे बढ़ाते हुए कव्वाली के क्षेत्र में महत्वपूर्ण योगदान दिया 14। साबरी ब्रदर्स की कुछ सबसे प्रसिद्ध कव्वालियाँ 'भर दो झोली...', 'ताजदार-ए-हरम...' हैं, जिन्हें आज भी खूब सुना जाता है 14। अफजाल साबरी और फरीद साबरी जैसे अन्य कव्वाल भी इसी प्रतिष्ठित घराने से ताल्लुक रखते हैं, जिन्होंने बॉलीवुड फिल्मों में भी अपनी आवाज का जादू बिखेरा 16। साबरी ब्रदर्स ने कव्वाली संगीत को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लोकप्रिय बनाने में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाई, जिससे विभिन्न संस्कृतियों के बीच एक सेतु बना और सूफी भक्ति संगीत पश्चिमी दर्शकों तक पहुंचा। उनकी विरासत आज भी उनके वंशजों और उनके संगीत के माध्यम से जीवित है।

सवाल 5: रोवा वन्यजीव अभयारण्य इनमें से किस प्रदेश में स्थित है?

सही उत्तर: (C) त्रिपुरा

रोवा वन्यजीव अभयारण्य भारत के उत्तर पूर्वी राज्य त्रिपुरा के उत्तरी त्रिपुरा जिले के पानीसागर उप-मंडल में स्थित है 19। यह अभयारण्य अपनी समृद्ध जैव विविधता के लिए जाना जाता है और यह उत्तर पूर्व भारत की प्राकृतिक विरासत का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है, जिसमें प्राकृतिक वनों के कुछ अवशेष आज भी मौजूद हैं 20। त्रिपुरा में दो मुख्य राष्ट्रीय उद्यान भी हैं: क्लाउडेड लेपर्ड नेशनल पार्क और राजबाड़ी राष्ट्रीय उद्यान 19। इसके अतिरिक्त, राज्य में गुमटी वन्यजीव अभयारण्य, तृष्णा वन्यजीव अभयारण्य और सिपाहीजाला वन्यजीव अभयारण्य जैसे अन्य महत्वपूर्ण वन्यजीव अभयारण्य भी स्थित हैं 20।

त्रिपुरा, भले ही एक छोटा राज्य है, लेकिन यह वनस्पतियों और जीवों की एक विस्तृत श्रृंखला से समृद्ध है, और रोवा वन्यजीव अभयारण्य इस क्षेत्र की पारिस्थितिक महत्व को दर्शाता है 20। भारत में विभिन्न राज्यों में कई वन्यजीव अभयारण्यों का होना वन्यजीव संरक्षण और विविध पारिस्थितिक तंत्रों को बनाए रखने के लिए देशव्यापी प्रयासों को दर्शाता है 21।

पिछले क्विज के जवाब (भास्कर फैमिली क्विज-120)

यहां भास्कर फैमिली क्विज-120 के सही जवाब दिए गए हैं:

  • प्रश्न 1: सही जवाब: (D) यूरी गगारिन
  • प्रश्न 2: सही जवाब: (D) राजस्थान
  • प्रश्न 3: सही जवाब: (A) बंकिमचंद्र चटर्जी
  • प्रश्न 4: सही जवाब: (B) कुंभलगढ़ की दीवार
  • प्रश्न 5: सही जवाब: (B) फ्रांस

निष्कर्ष

तो दोस्तों, यह थे दैनिक भास्कर फैमिली क्विज के आज के सवालों के विस्तृत उत्तर और पिछली क्विज के जवाब। हमें उम्मीद है कि आपको यह जानकारी पसंद आई होगी। जल्दी कीजिए और आज रात 12 बजे से पहले भास्कर फैमिली क्विज में भाग लीजिए और जीतिए रोमांचक उपहार! हमारी वेबसाइट पर अन्य ज्ञानवर्धक सामग्री के लिए बने रहें।

क्रमांक प्रश्न सही उत्तर विस्तृत जानकारी
1 प्रसिद्ध कामिक चरित्र 'चाचा चौधरी' किसकी रचना है? (B) प्राण शर्मा 'चाचा चौधरी' एक लोकप्रिय भारतीय कॉमिक्स श्रृंखला है, जिसकी रचना कार्टूनिस्ट प्राण कुमार शर्मा ने 1971 में की थी। यह बच्चों और बड़ों के बीच बहुत लोकप्रिय है और हिंदी, अंग्रेजी सहित 10 भाषाओं में प्रकाशित होती है।
2 इनमें से कौन सा भारतीय शहर पिछोला झील के किनारे स्थित है? (A) उदयपुर उदयपुर, जिसे "झीलों की नगरी" कहा जाता है, अरावली की पहाड़ियों से घिरा है और पिछोला झील के किनारे स्थित है। इस झील में लेक पैलेस और जग मंदिर जैसे प्रसिद्ध महल हैं।
3 इनमें से किस देश की राजधानी मिंस्क है? (A) बेलारूस मिंस्क पूर्वी यूरोप के बेलारूस देश की राजधानी और सबसे बड़ा शहर है, जो स्विस्लाच और नियामिहा नदियों के किनारे बसा है।
4 साबरी ब्रदर्स किस कला के लिए प्रसिद्ध थे? (A) कव्वाली साबरी ब्रदर्स पाकिस्तान के मशहूर कव्वाल थे, जिन्होंने अपनी सूफी गायन शैली कव्वाली को विश्व स्तर पर पहचान दिलाई।
5 रोवा वन्यजीव अभयारण्य इनमें से किस प्रदेश में स्थित है? (C) त्रिपुरा रोवा वन्यजीव अभयारण्य त्रिपुरा के उत्तरी त्रिपुरा जिले में स्थित है, जो अपनी समृद्ध जैव विविधता के लिए जाना जा ता है।


27 मार्च 2025

HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT & LEET): Online Form, Exam Date, Syllabus, Eligibility & Result

 

HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT & LEET): Online Form, Exam Date, Syllabus, Eligibility & Result

HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT & LEET): Online Form, Exam Date, Syllabus, Eligibility & Result

Himachal Pradesh Takniki Shiksha Board (HPTECH) has released the official notification for HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT & LEET 2025). Candidates seeking admission into Diploma Engineering Courses in Himachal Pradesh can apply online. This blog provides complete details about HP Polytechnic Admission 2025, including eligibility, important dates, application process, syllabus, result, and counseling.


HP Polytechnic Admission Test 2025: Overview

HP Polytechnic Admission 2025 consists of two major entrance exams:

  1. HP PAT 2025 (Polytechnic Admission Test) – For admission to 1st-year diploma engineering courses.
  2. HP LEET 2025 (Lateral Entry Entrance Test) – For direct admission to 2nd-year diploma courses.

Both exams are conducted by the Himachal Pradesh Takniki Shiksha Board (HPTECH), Dharamshala. Candidates who qualify for these exams will be eligible for admission to government and private polytechnic colleges in Himachal Pradesh.


HP Polytechnic Admission 2025: Important Dates

Event HP PAT 2025 HP LEET 2025
Online Application Start Date 27 March 2025 27 March 2025
Last Date to Apply 5 May 2025 7 May 2025
Exam Date 18 May 2025 25 May 2025
Result Declaration To be announced To be announced

Aspirants must submit their HP Polytechnic online form 2025 before the last date to avoid any inconvenience.


Eligibility Criteria for HP Polytechnic Admission 2025

HP PAT 2025 Eligibility (1st Year Diploma Admission)

  • The candidate must have passed the 10th class (Matriculation) with a minimum of 35% marks from a recognized board.
  • Candidates appearing for the 10th exam in 2025 can also apply, but their admission will be subject to passing the exam.

HP LEET 2025 Eligibility (Lateral Entry to 2nd Year Diploma)

  • Candidates must have passed 10+2 with Physics, Chemistry, Mathematics, Computer Science, IT, Biology, or a relevant vocational subject.
  • OR, candidates who have completed 10th + ITI (NCVT/SCVT) in Engineering can apply for lateral entry admission.

It is essential to check the HP Polytechnic Admission 2025 prospectus PDF for detailed eligibility requirements.


HP Polytechnic Admission 2025 Application Process

Candidates can follow these steps to fill out the HP Polytechnic online form 2025:

  1. Visit the official website: www.hptechboard.com
  2. Click on the "HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT/LEET) Apply Online" link.
  3. Fill in the required details, including personal and educational information.
  4. Upload scanned copies of a passport-size photograph and signature.
  5. Pay the HP Polytechnic Admission 2025 application fee through Net Banking/Debit Card/Credit Card.

Application Fee

Category Fee (PAT & LEET)
General Category ₹650/-
SC/ST/OBC Category ₹400/-
  1. Submit the application form and take a printout for future reference.

HP Polytechnic Admission 2025 Syllabus & Exam Pattern

HP PAT 2025 Syllabus

The HP Polytechnic Admission Test 2025 (PAT) will be based on Class 10th syllabus. The subjects included are:

  • Mathematics
  • Science (Physics & Chemistry)
  • English
  • General Knowledge

HP LEET 2025 Syllabus

The Lateral Entry Entrance Test (LEET 2025) syllabus includes topics from 10+2 or ITI level subjects, such as:

  • Mathematics & Physics
  • Engineering Graphics
  • Technical Concepts from Vocational Courses

The detailed HP Polytechnic Admission 2025 syllabus PDF can be downloaded from the official website.


HP Polytechnic Admission 2025 Result & Merit List

  • The HP PAT 2025 result will be released after the exam, and candidates can check their scores online.
  • The HP Polytechnic Admission 2025 merit list will be prepared based on exam performance.
  • For HP LEET 2025 result, candidates’ marks in 10+2 or ITI will be considered.

Aspirants can download the HP Polytechnic Admission 2025 merit list PDF from the official website once declared.


HP Polytechnic Admission 2025 Counseling Process

After the HP Polytechnic Entrance Exam 2025 results, qualified candidates must participate in counseling for admission to polytechnic colleges in Himachal Pradesh.

Steps in HP Polytechnic Counseling 2025

  1. Register for counseling on the official website.
  2. Select preferred colleges and courses from the available options.
  3. Seat allotment will be based on rank in HP PAT 2025 & HP LEET 2025.
  4. Document verification and final admission process.

It is advised to keep the necessary documents ready for HP Polytechnic counseling 2025, including:

  • Admit Card & Scorecard
  • 10th/12th Marksheet
  • Domicile Certificate
  • Category Certificate (if applicable)
  • Identity Proof

HP Polytechnic Admission 2025: FAQs

1. What is the last date to apply for HP Polytechnic Admission Test 2025?

The last date to submit the HP PAT 2025 online form is 5 May 2025, while for HP LEET 2025, it is 7 May 2025.

2. Where can I download the HP Polytechnic Admission 2025 PDF?

Candidates can download the HP Polytechnic Admission 2025 prospectus PDF from www.hptechboard.com.

3. What is the exam date for HP PAT 2025 & HP LEET 2025?

  • HP PAT 2025 Exam Date: 18 May 2025
  • HP LEET 2025 Exam Date: 25 May 2025

4. What is the syllabus for HP Polytechnic Admission Test 2025?

The syllabus for HP PAT 2025 is based on Class 10 subjects, while HP LEET 2025 includes 10+2 or ITI subjects.

5. How to check the HP Polytechnic Admission 2025 result?

Visit the official website and enter your roll number to check the HP PAT 2025 result & HP LEET 2025 result once declared.


Conclusion

The HP Polytechnic Admission Test 2025 is a great opportunity for students seeking diploma courses in engineering and technology. Candidates must apply before the last date, prepare well using the HP Polytechnic Admission 2025 syllabus, and check the merit list for counseling.

For the latest updates on HP Polytechnic Admission 2025 result, merit list, and counseling, keep visiting www.hptechboard.com.

25 मार्च 2025

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 : 478 रिक्तियों के लिए ऑनलाइन आवेदन

 

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025: आशुलिपिक रिक्ति के लिए ऑनलाइन आवेदन करें

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 – आशुलिपिक रिक्ति के लिए ऑनलाइन आवेदन करें

क्या आप न्यायपालिका क्षेत्र में सरकारी नौकरी की तलाश कर रहे हैं? पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 पंजाब के अधीनस्थ न्यायालयों में रोजगार चाहने वाले उम्मीदवारों के लिए एक सुनहरा अवसर है। अधीनस्थ न्यायालयों में कर्मचारी की केंद्रीकृत भर्ती सोसायटी (SSSC) ने विभिन्न जिलों में आशुलिपिक ग्रेड-III पदों के लिए एक विस्तृत अधिसूचना जारी की है।

इस लेख में, हम पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय रिक्ति 2025, पात्रता मानदंड, चयन प्रक्रिया, वेतन, पाठ्यक्रम और ऑनलाइन आवेदन कैसे करें को कवर करेंगे। पूरी जानकारी ध्यान से पढ़ें और अंतिम तिथि से पहले आवेदन करें।


विषयसूची


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 – अवलोकन

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 अधिसूचना आशुलिपिक ग्रेड-III के 478 रिक्तियों के लिए जारी की गई है। इच्छुक उम्मीदवार आधिकारिक वेबसाइट www.sssc.gov.in के माध्यम से ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं।

भर्ती प्राधिकरण पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय (SSSC)
पद का नाम आशुलिपिक ग्रेड-III
कुल रिक्तियां 478
नौकरी का स्थान पंजाब
आवेदन का तरीका ऑनलाइन
चयन प्रक्रिया कंप्यूटर आधारित टेस्ट (सीबीटी), आशुलिपि और टंकण परीक्षा
आधिकारिक वेबसाइट www.sssc.gov.in

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 ऑनलाइन आवेदन करें प्रक्रिया 26 मार्च, 2025 से शुरू होगी, और 23 अप्रैल, 2025 को बंद हो जाएगी।


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय रिक्ति 2025 – कुल पद

भर्ती में पंजाब अधीनस्थ न्यायालयों में आशुलिपिक ग्रेड-III के लिए श्रेणी-वार रिक्तियां शामिल हैं:

वर्ग कुल रिक्तियां
सामान्य 79
एससी (मज़हबी सिख/बाल्मीकि) 51
एससी (अन्य) 36
बीसी/ओबीसी 32
ईडब्ल्यूएस 42
भूतपूर्व सैनिक 51
विकलांग व्यक्ति 28
स्वतंत्रता सेनानी 1
कुल 478

रिक्तियों की संख्या पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय की आवश्यकताओं के अनुसार बढ़ या घट सकती है।


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 अधिसूचना पीडीएफ

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक भर्ती 2025 के लिए आधिकारिक अधिसूचना पीडीएफ www.sssc.gov.in पर उपलब्ध है। उम्मीदवारों को आवेदन करने से पहले विस्तृत अधिसूचना पढ़ने की सलाह दी जाती है।

अधिसूचना पीडीएफ डाउनलोड करें: यहां क्लिक करें


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 के लिए पात्रता मानदंड

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय रिक्ति 2025 के लिए आवेदन करने से पहले, उम्मीदवारों को पात्रता मानदंड की जांच करनी चाहिए।

शैक्षिक योग्यता

  • उम्मीदवारों के पास किसी मान्यता प्राप्त विश्वविद्यालय से बैचलर डिग्री (बीए/बीएससी या समकक्ष) होनी चाहिए।
  • कंप्यूटर (वर्ड प्रोसेसिंग और स्प्रेडशीट) में दक्षता होनी चाहिए।
  • मैट्रिकुलेशन स्तर पर पंजाबी को एक विषय के रूप में पढ़ा होना चाहिए।

आयु सीमा (01.01.2025 को)

वर्ग न्यूनतम आयु अधिकतम आयु
सामान्य 18 वर्ष 37 वर्ष
एससी/बीसी/ओबीसी 18 वर्ष 42 वर्ष
पीडब्ल्यूडी 18 वर्ष 47 वर्ष
भूतपूर्व सैनिक 18 वर्ष सैन्य सेवा वर्ष + 3

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक भर्ती 2025 – चयन प्रक्रिया

चयन प्रक्रिया में तीन चरण शामिल हैं:

  1. कंप्यूटर आधारित टेस्ट (सीबीटी)
    • अंग्रेजी रचना और सामान्य ज्ञान पर 60 एमसीक्यू
    • कोई नकारात्मक अंकन नहीं
    • 1 घंटे की अवधि
  2. अंग्रेजी आशुलिपि और प्रतिलेखन परीक्षा
    • 80 शब्द प्रति मिनट की गति से श्रुतलेख
    • 20 शब्द प्रति मिनट की गति से प्रतिलेखन
    • अधिकतम 8% त्रुटियों की अनुमति
  3. स्प्रेडशीट टेस्ट (केवल योग्यता)
    • बुनियादी एक्सेल/स्प्रेडशीट कौशल परीक्षा
    • 10 अंक, उत्तीर्ण होने के लिए 4 अंक आवश्यक

अंतिम मेरिट सूची आशुलिपि और प्रतिलेखन परीक्षा पर आधारित होगी।


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 ऑनलाइन आवेदन करें

उम्मीदवार पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 के लिए आधिकारिक वेबसाइट www.sssc.gov.in के माध्यम से आवेदन कर सकते हैं।

ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया के चरण

  1. आधिकारिक वेबसाइट www.sssc.gov.in पर जाएं।
  2. “आशुलिपिक ग्रेड-III भर्ती 2025” पर क्लिक करें।
  3. एक मान्य ईमेल आईडी और फोन नंबर के साथ पंजीकरण करें।
  4. व्यक्तिगत, शैक्षणिक और संपर्क विवरण के साथ आवेदन पत्र भरें।
  5. दिशानिर्देशों के अनुसार फोटो और हस्ताक्षर अपलोड करें।
  6. ऑनलाइन आवेदन शुल्क का भुगतान करें।
  7. फॉर्म जमा करें और भविष्य के संदर्भ के लिए एक प्रिंटआउट लें।

आवेदन शुल्क

वर्ग कुल शुल्क (₹)
एससी/बीसी/ओबीसी/ईडब्ल्यूएस 525
पीडब्ल्यूडी 625
सामान्य 825

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक परीक्षा पैटर्न और पाठ्यक्रम

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक परीक्षा 2025 कई चरणों में आयोजित की जाएगी।

सीबीटी परीक्षा पैटर्न

विषय प्रश्न अंक
सामान्य ज्ञान 30 30
अंग्रेजी रचना 30 30
कुल 60 60

आशुलिपि और टंकण परीक्षा: उम्मीदवारों को आशुलिपि में 80 शब्द प्रति मिनट और प्रतिलेखन में 20 शब्द प्रति मिनट की गति प्राप्त करनी होगी।

स्प्रेडशीट टेस्ट: उम्मीदवारों को उत्तीर्ण होने के लिए 10 में से 4 अंक प्राप्त करने होंगे।


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 के लिए महत्वपूर्ण तिथियां

अधिसूचना जारी 25 मार्च, 2025
ऑनलाइन आवेदन शुरू 26 मार्च, 2025
आवेदन करने की अंतिम तिथि 23 अप्रैल, 2025
परीक्षा तिथि घोषित की जाएगी

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक वेतन और लाभ

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक भर्ती 2025 के लिए चयनित उम्मीदवारों को पंजाब सरकार के नियमों के अनुसार वेतन मिलेगा।

वेतन सीमा: ₹ 25,500 – ₹ 81,100/- प्रति माह

भत्ते और लाभ: डीए, एचआरए, चिकित्सा भत्ता, पेंशन, और बहुत कुछ।


पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 – अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न

Q1. पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 के लिए आवेदन करने की अंतिम तिथि क्या है?

ऑनलाइन आवेदन करने की अंतिम तिथि 23 अप्रैल, 2025 है।

Q2. पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक 2025 के लिए चयन प्रक्रिया क्या है?

चयन सीबीटी, अंग्रेजी आशुलिपि और प्रतिलेखन परीक्षा, और स्प्रेडशीट टेस्ट पर आधारित है।

Q3. मैं पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक रिक्ति 2025 के लिए कैसे आवेदन कर सकता हूं?

www.sssc.gov.in पर जाएं, ऑनलाइन पंजीकरण पूरा करें और अपना आवेदन जमा करें।

Q4. पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक के लिए वेतन क्या है?

वेतन सीमा ₹ 25,500 – ₹ 81,100/- प्रति माह है।


निष्कर्ष

पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय भर्ती 2025 स्थिर सरकारी नौकरी की तलाश कर रहे स्नातकों के लिए एक उत्कृष्ट अवसर है। यदि आप पात्रता मानदंडों को पूरा करते हैं, तो अंतिम तिथि से पहले www.sssc.gov.in पर आवेदन करें। पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय आशुलिपिक रिक्ति 2025 के लिए नवीनतम भर्ती समाचार और परीक्षा तिथियों के साथ अपडेट रहें।

आपके आवेदन के लिए शुभकामनाएँ!


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पीएमईजीपी लोन योजना: अपना व्यवसाय शुरू करने के लिए 20 से 50 लाख तक का लोन

पीएमईजीपी लोन योजना: अपना व्यवसाय शुरू करने के लिए 20 से 50 लाख तक का लोन

परिचय: पीएमईजीपी लोन योजना - अपना व्यवसाय शुरू करने का सुनहरा अवसर

भारत सरकार ने देश भर में स्वरोजगार और उद्यमिता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम (पीएमईजीपी) नामक एक प्रमुख पहल शुरू की है। यह योजना उन व्यक्तियों और संस्थाओं के लिए एक सुनहरा अवसर प्रस्तुत करती है जो अपने स्वयं के सूक्ष्म उद्यम स्थापित करना चाहते हैं, उन्हें ₹20 लाख से ₹50 लाख तक की वित्तीय सहायता प्रदान करती है। इस योजना का एक महत्वपूर्ण पहलू यह है कि यह पर्याप्त सब्सिडी भी प्रदान करती है, जिससे सीमित वित्तीय संसाधनों वाले महत्वाकांक्षी उद्यमियों के लिए यह और भी आकर्षक हो जाती है। पीएमईजीपी विशेष रूप से ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में व्यक्तियों को आत्मनिर्भर बनने और आर्थिक विकास में योगदान करने में सक्षम बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है।

सरकार ने पहले की रोजगार सृजन योजनाओं, जैसे कि पीएमआरवाई और आरईजीपी को मिलाकर पीएमईजीपी की शुरुआत की [1, 2]। यह कदम जमीनी स्तर पर उद्यमिता और रोजगार सृजन को बढ़ावा देने के लिए सरकार के दीर्घकालिक रणनीतिक दृष्टिकोण को दर्शाता है। विभिन्न स्रोतों से यह बार-बार जोर दिया गया है कि यह योजना सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) का समर्थन करती है [3, 4]। यह भारतीय अर्थव्यवस्था में इन उद्यमों की महत्वपूर्ण भूमिका को रेखांकित करता है, खासकर रोजगार और क्षेत्रीय विकास के संदर्भ में। पीएमईजीपी इस महत्वपूर्ण क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए एक सीधा हस्तक्षेप है।

पीएमईजीपी लोन योजना क्या है?

पीएमईजीपी को एक "क्रेडिट-लिंक्ड सब्सिडी योजना" के रूप में स्पष्ट रूप से परिभाषित किया गया है। इसका मतलब है कि ऋण बैंकों द्वारा प्रदान किया जाता है, लेकिन परियोजना लागत का एक हिस्सा सरकार द्वारा सब्सिडी के रूप में दिया जाता है। यह योजना विनिर्माण क्षेत्र की परियोजनाओं के लिए ₹50 लाख तक और सेवा क्षेत्र की परियोजनाओं के लिए ₹20 लाख तक की वित्तीय सहायता प्रदान करती है [1, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 12]। लाभार्थियों को परियोजना लागत में अपेक्षाकृत कम योगदान करना होता है, जो सामान्य श्रेणी के आवेदकों के लिए आमतौर पर 10% और विशेष श्रेणी के आवेदकों के लिए केवल 5% होता है [3, 5, 11, 12, 13, 14, 15, 16]। शेष परियोजना लागत बैंक ऋण के माध्यम से वित्तपोषित की जाती है। सरकार ने इस कार्यक्रम के महत्व को देखते हुए 2021-22 से 2025-26 तक पांच वित्तीय वर्षों की अवधि के लिए ₹13,554 करोड़ का पर्याप्त बजट भी स्वीकृत किया है [6]। इस योजना का मुख्य उद्देश्य ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करना और स्वरोजगार के अवसर प्रदान करके पारंपरिक कारीगरों और बेरोजगार युवाओं को एक साथ लाना है [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।

पीएमईजीपी के तहत कितना लोन मिल सकता है?

पीएमईजीपी के तहत वित्तपोषण के लिए पात्र अधिकतम परियोजना लागत विनिर्माण इकाइयों के लिए ₹50 लाख और व्यवसाय/सेवा क्षेत्र की इकाइयों के लिए ₹20 लाख है [1, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 12, 14, 15, 16, 20, 21, 22, 23, 24]। बैंक द्वारा स्वीकृत वास्तविक ऋण राशि लाभार्थी के योगदान और सरकारी सब्सिडी में कटौती के बाद परियोजना लागत का शेष भाग होगी [12]। यह ध्यान रखना महत्वपूर्ण है कि विनिर्माण क्षेत्र में ₹10 लाख तक और सेवा क्षेत्र में ₹5 लाख तक की लागत वाली परियोजनाओं के लिए व्यक्तियों के लिए कोई अनिवार्य शैक्षणिक योग्यता आवश्यक नहीं है [5, 15, 17]। हालांकि, इन लागत सीमाओं से अधिक की परियोजनाओं के लिए, लाभार्थियों को कम से कम 8वीं कक्षा उत्तीर्ण होना चाहिए [5, 7, 9, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 20, 21, 23, 25]। इसके अतिरिक्त, मौजूदा पीएमईजीपी/आरईजीपी/मुद्रा इकाइयों के उन्नयन के लिए दूसरे ऋण की उपलब्धता है, जिसमें विनिर्माण के लिए अधिकतम परियोजना लागत ₹1 करोड़ और सेवा क्षेत्र के लिए ₹25 लाख है [9, 11, 17, 21, 26]।

पीएमईजीपी लोन पर कितनी सब्सिडी मिलती है?

पीएमईजीपी के तहत प्रदान की जाने वाली सब्सिडी परियोजना लागत का 15% से 35% तक होती है [1, 2, 3, 5, 6, 7, 8, 10, 11, 13, 14, 15, 16, 18, 19, 21, 22, 23, 27]। सब्सिडी की सटीक प्रतिशतता लाभार्थी श्रेणी और परियोजना के स्थान पर आधारित होती है:

  • सामान्य श्रेणी: शहरी क्षेत्रों में 15% और ग्रामीण क्षेत्रों में 25% [1, 3, 5, 6, 7, 8, 11, 13, 14, 15, 16, 18, 21, 22, 23, 27]।
  • विशेष श्रेणी (एससी/एसटी/ओबीसी/अल्पसंख्यक/महिला, भूतपूर्व सैनिक, शारीरिक रूप से विकलांग, एनईआर, पहाड़ी और सीमावर्ती क्षेत्र, आकांक्षी जिले, ट्रांसजेंडर आदि सहित): शहरी क्षेत्रों में 25% और ग्रामीण क्षेत्रों में 35% [1, 3, 5, 6, 7, 8, 11, 13, 14, 15, 16, 18, 21, 22, 23, 27]।

उन्नयन के उद्देश्य से दूसरे ऋण के लिए, सभी श्रेणियों के लिए 15% की सब्सिडी प्रदान की जाती है, जिसमें उत्तर पूर्वी क्षेत्र (एनईआर) और पहाड़ी राज्यों के लिए 20% की बढ़ी हुई दर है [11, 16, 17]।

पीएमईजीपी लोन के लिए पात्रता मानदंड क्या हैं?

पीएमईजीपी लोन के लिए आवेदन करने के लिए व्यक्तियों और संस्थाओं को निम्नलिखित पात्रता मानदंडों को पूरा करना होगा:

  • आवेदक भारत का नागरिक होना चाहिए [User Query]।
  • आवेदक की आयु 18 वर्ष से अधिक होनी चाहिए [1, 2, 3, 5, 7, 9, 11, 13, 14, 15, 16, 17, 18, 19, 20, 21, 23, 24, 25, 27]।
  • विनिर्माण क्षेत्र में ₹10 लाख से अधिक और व्यवसाय/सेवा क्षेत्र में ₹5 लाख से अधिक लागत वाली परियोजनाओं के लिए, लाभार्थी को कम से कम 8वीं कक्षा उत्तीर्ण होना चाहिए [5, 7, 9, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 20, 21, 23, 25]।
  • योजना के तहत सहायता केवल पीएमईजीपी के तहत विशेष रूप से स्वीकृत नई परियोजनाओं के लिए उपलब्ध है [1, 3, 5, 9, 11, 14, 15, 17, 18, 21, 24, 25]। पीएमआरवाई, आरईजीपी या किसी अन्य सरकारी योजना के तहत पहले से मौजूद इकाइयाँ और किसी अन्य सरकारी योजना के तहत सरकारी सब्सिडी का लाभ उठा चुकी इकाइयाँ पात्र नहीं हैं [3, 5, 7, 11, 15, 16, 17, 21, 25]। हालांकि, मौजूदा पीएमईजीपी/आरईजीपी/मुद्रा इकाइयाँ दूसरे ऋण के लिए पात्र हैं [11, 14]।
  • एक परिवार (पति और पत्नी सहित) से केवल एक व्यक्ति पीएमईजीपी के तहत परियोजनाओं की स्थापना के लिए वित्तीय सहायता प्राप्त करने के लिए पात्र है [5, 9, 17, 19]।
  • स्व-सहायता समूह (एसएचजी), जिनमें गरीबी रेखा से नीचे के लोग भी शामिल हैं, बशर्ते उन्होंने किसी अन्य योजना के तहत लाभ न लिया हो, पात्र हैं [3, 5, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 21, 23, 25]।
  • सोसायटी पंजीकरण अधिनियम, 1860 के तहत पंजीकृत संस्थान पात्र हैं [3, 5, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 21, 23, 25]।
  • उत्पादन सहकारी समितियाँ पात्र हैं [3, 5, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 21, 23, 25]।
  • धर्मार्थ ट्रस्ट पात्र हैं [3, 5, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 21, 23, 25]।

पीएमईजीपी लोन के लिए ऑनलाइन आवेदन कैसे करें?

पीएमईजीपी लोन के लिए ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया सीधी है। इच्छुक आवेदक नीचे दिए गए चरणों का पालन कर सकते हैं:

  1. खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी) की आधिकारिक वेबसाइट पर जाएं, जो अक्सर www.kviconline.gov.in या kvic.org.in के रूप में उल्लिखित है [6, 19, 24]।
  2. होमपेज पर "पीएमईजीपी" अनुभाग या लिंक देखें [User Query]।
  3. योजना के लिए समर्पित पृष्ठ तक पहुंचने के लिए पीएमईजीपी विकल्प पर क्लिक करें [User Query]।
  4. "व्यक्तिगत के लिए ऑनलाइन आवेदन पत्र" या "नई इकाई के लिए ऑनलाइन आवेदन पत्र" बटन खोजें और क्लिक करें [13]। गैर-व्यक्तिगत आवेदकों के लिए एक अलग विकल्प भी हो सकता है [13]।
  5. आवेदन पत्र में सभी अनिवार्य क्षेत्रों को ध्यान से भरें, जिसमें सटीक व्यक्तिगत विवरण, प्रस्तावित व्यवसाय के बारे में जानकारी, वांछित ऋण राशि और आपके बैंक खाते का विवरण शामिल है [2, 13]।
  6. घोषणा पत्र पढ़ें, अपनी सहमति की पुष्टि करने के लिए चेकबॉक्स पर टिक करें और फिर "आवेदक डेटा सहेजें" बटन पर क्लिक करें [13]।
  7. इसके बाद आपको आवश्यक दस्तावेजों की स्कैन की हुई प्रतियां अपलोड करने के लिए कहा जाएगा [2, 13]। सुनिश्चित करें कि दस्तावेज स्पष्ट हैं और निर्दिष्ट प्रारूप के अनुसार हैं।
  8. दस्तावेज अपलोड करने के बाद, आपके द्वारा दर्ज की गई सभी जानकारी की समीक्षा करें। एक बार जब आप संतुष्ट हो जाएं, तो आवेदन की अंतिम जमा करने के लिए आगे बढ़ें [13]।
  9. सफलतापूर्वक जमा करने पर, आपको अपने पंजीकृत मोबाइल नंबर और ईमेल पते पर एक आवेदन आईडी और एक पासवर्ड प्राप्त होगा [13]। भविष्य के संदर्भ के लिए और अपने आवेदन की स्थिति को ट्रैक करने के लिए इन क्रेडेंशियल्स को सुरक्षित रखें।

ध्यान दें कि पीएमईजीपी एमआईएस पोर्टल पर व्यक्तियों और संस्थागत लाभार्थियों दोनों के लिए एक पृष्ठ का ऑनलाइन आवेदन पत्र अनिवार्य है [1, 8]। सिस्टम मोबाइल-फ्रेंडली होने के लिए डिज़ाइन किया गया है, और आपको आवेदन प्रक्रिया के प्रत्येक चरण में स्वचालित रूप से एसएमएस/ईमेल अलर्ट प्राप्त होंगे [1, 8]।

पीएमईजीपी लोन के लिए आवश्यक दस्तावेज क्या हैं?

पीएमईजीपी लोन के लिए आवेदन करते समय आमतौर पर आवश्यक दस्तावेजों की विस्तृत सूची यहां दी गई है:

  • पहचान और पते का प्रमाण: आधार कार्ड और पैन कार्ड [3, 5, 13, 15, 21, 23]।
  • जाति प्रमाण पत्र (यदि लागू हो) [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23, 25]।
  • विशेष श्रेणी प्रमाण पत्र (यदि लागू हो) [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23, 25]।
  • ग्रामीण क्षेत्र प्रमाण पत्र [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23]।
  • विस्तृत परियोजना रिपोर्ट [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23]।
  • शैक्षणिक योग्यता प्रमाण पत्र (यदि लागू हो) [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23]।
  • उद्यमिता विकास कार्यक्रम (ईडीपी) प्रशिक्षण प्रमाण पत्र [3, 5, 13, 15, 17, 21, 23]।
  • संस्थाओं के लिए अतिरिक्त दस्तावेज (यदि लागू हो) [5, 21]।
  • सब्सिडी दावा प्रलेखन [2]।
  • परियोजना लागत विवरण [2]।
  • कोई अन्य लागू दस्तावेज [3, 5, 13, 15, 17, 23]।

पीएमईजीपी लोन का मुख्य उद्देश्य क्या है?

प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम के प्राथमिक उद्देश्यों को और विस्तार से बताया गया है:

  • देश के ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में नए स्वरोजगार उद्यमों, परियोजनाओं और सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना को सुविधाजनक बनाकर स्थायी रोजगार के अवसर पैदा करना [1, 2, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19, 27, 28]।
  • ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में व्यापक रूप से फैले पारंपरिक कारीगरों और बेरोजगार युवाओं को एक साथ लाना और उन्हें यथासंभव उनके निवास स्थान पर स्वरोजगार के अवसर प्रदान करना [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।
  • देश में पारंपरिक और भावी कारीगरों और ग्रामीण और शहरी बेरोजगार युवाओं के एक बड़े वर्ग को निरंतर और स्थायी रोजगार प्रदान करना, जिससे आजीविका की तलाश में ग्रामीण युवाओं के शहरी क्षेत्रों में पलायन को रोकने में मदद मिल सके [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।
  • कारीगरों की मजदूरी अर्जन क्षमता में वृद्धि करना और ग्रामीण और शहरी रोजगार की विकास दर में वृद्धि में योगदान करना [13, 17, 18]।
  • वित्तीय संस्थानों को सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना के लिए अधिक ऋण प्रदान करने के लिए प्रोत्साहित करके सूक्ष्म क्षेत्र में निवेश को बढ़ावा देना [3]।
  • ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में पारंपरिक कारीगरों और बेरोजगार युवाओं को अपने स्वयं के सूक्ष्म उद्यम स्थापित करने और सफलतापूर्वक चलाने के लिए सशक्त बनाना [3]।

पीएमईजीपी योजना कौन लागू करता है?

पीएमईजीपी योजना के कार्यान्वयन में शामिल प्रमुख एजेंसियों की स्पष्ट रूप से पहचान की गई है:

  • खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी) राष्ट्रीय स्तर पर नोडल एजेंसी के रूप में कार्य करता है [2, 3, 5, 8, 11, 15, 16, 18, 19, 23]।
  • राज्य स्तर पर, यह योजना विभिन्न एजेंसियों के माध्यम से कार्यान्वित की जाती है, जिनमें राज्य केवीआईसी निदेशालय, राज्य खादी और ग्रामोद्योग बोर्ड (केवीआईबी) और जिला उद्योग केंद्र (डीआईसी) शामिल हैं [1, 2, 8, 11, 15, 16, 19]।
  • पीएमईजीपी योजना का समग्र प्रशासन सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय (एमओएमएसएमई) के दायरे में आता है [1, 3, 5, 7, 8, 11, 15, 23]।
  • इस योजना के तहत वित्तीय सहायता देश भर के विभिन्न सार्वजनिक और निजी क्षेत्र के बैंकों द्वारा प्रदान की जाती है।

पीएमईजीपी लोन के लिए गारंटी की आवश्यकता है?

स्पष्ट रूप से कहा गया है कि भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) के दिशानिर्देशों के अनुसार पीएमईजीपी योजना के तहत ₹10 लाख तक के ऋण के लिए किसी संपार्श्विक सुरक्षा की आवश्यकता नहीं है [1, 5, 6, 7, 8, 14, 19, 20, 22, 23, 24]। समझाया गया है कि ₹10 लाख से अधिक और ₹25 लाख तक की परियोजना लागत के लिए, सूक्ष्म और लघु उद्यमों के लिए क्रेडिट गारंटी फंड ट्रस्ट (सीजीटीएमएसई) पीएमईजीपी योजना के तहत संपार्श्विक गारंटी प्रदान करता है [3, 5, 13, 14, 16, 23, 24, 29]। ₹10 लाख से अधिक लागत वाली परियोजनाओं के लिए, ऋण देने वाले संस्थानों की सुरक्षा के संबंध में अपनी शर्तें और शर्तें हो सकती हैं [13, 23]।

पीएमईजीपी लोन किन व्यवसायों के लिए उपलब्ध है?

यह निर्दिष्ट किया गया है कि पीएमईजीपी ऋण मुख्य रूप से गैर-कृषि क्षेत्र में नए सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना के लिए अभिप्रेत है [3, 5, 11, 15, 16]। यह योजना विनिर्माण और सेवा दोनों क्षेत्रों में गतिविधियों की एक विस्तृत श्रृंखला को कवर करती है [1, 2, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 12, 13, 14, 15, 16, 18, 19, 20, 21, 22, 23, 24, 27]। पीएमईजीपी के तहत स्थापित किए जा सकने वाले व्यवसायों के प्रकार के सांकेतिक उदाहरणों में कृषि-आधारित खाद्य प्रसंस्करण, वन-आधारित उत्पाद, हस्तनिर्मित कागज और फाइबर, खनिज-आधारित उत्पाद, बहुलक और रसायन-आधारित उत्पाद, ग्रामीण इंजीनियरिंग और जैव-प्रौद्योगिकी, सेवा उद्योग और वस्त्र शामिल हैं [3, 16]। ग्रामीण या शहरी क्षेत्रों में स्थित कोई भी ग्राम उद्योग (नकारात्मक सूची में उल्लिखित लोगों को छोड़कर) भी पात्र है [5, 14, 24, 27, 29]। कुछ गतिविधियों की एक "नकारात्मक सूची" है जो पीएमईजीपी योजना के तहत समर्थित नहीं हैं [9, 13, 14, 21, 24, 27]।

पीएमईजीपी लोन योजना की मुख्य बातें क्या हैं?

  • यह नए सूक्ष्म उद्यमों की स्थापना के माध्यम से रोजगार सृजन के उद्देश्य से एक क्रेडिट-लिंक्ड सब्सिडी कार्यक्रम है [2, 3, 7, 8, 11, 16, 23]।
  • विनिर्माण परियोजनाओं के लिए ₹50 लाख तक और सेवा क्षेत्र की परियोजनाओं के लिए ₹20 लाख तक की वित्तीय सहायता प्रदान करता है [1, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 12, 14, 15, 16, 20, 21, 22, 23, 24]।
  • लाभार्थी श्रेणी और परियोजना के स्थान के आधार पर 15% से 35% तक आकर्षक सरकारी सब्सिडी प्रदान करता है [1, 2, 3, 5, 6, 7, 8, 10, 11, 13, 14, 15, 16, 18, 19, 21, 22, 23, 27]।
  • विशेष श्रेणियों के लिए केवल 5% और सामान्य श्रेणी के लिए 10% का अपेक्षाकृत कम लाभार्थी योगदान आवश्यक है [3, 5, 11, 12, 13, 14, 15, 16]।
  • ₹10 लाख तक की लागत वाली परियोजनाओं के लिए संपार्श्विक-मुक्त ऋण का महत्वपूर्ण लाभ प्रदान करता है [1, 5, 6, 7, 8, 14, 19, 20, 22, 23, 24]।
  • यह योजना राष्ट्रीय स्तर पर सुस्थापित खादी और ग्रामोद्योग आयोग (केवीआईसी) द्वारा कार्यान्वित की जाती है [2, 3, 5, 8, 11, 15, 16, 18, 19, 23]।
  • देश भर के ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करने पर इसका विशेष ध्यान है [1, 2, 3, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19, 27, 28]।
  • केवीआईसी पोर्टल के माध्यम से एक सुविधाजनक ऑनलाइन आवेदन प्रक्रिया प्रदान करता है [1, 5, 6, 8, 15, 20]।

पीएमईजीपी लोन योजना ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों को कैसे लाभ पहुँचाती है?

ग्रामीण क्षेत्रों के लिए लाभ:

  • स्थानीय स्तर पर रोजगार के अवसर पैदा करता है, जिससे ग्रामीण युवाओं को काम की तलाश में शहरी केंद्रों की ओर पलायन करने की आवश्यकता कम हो जाती है [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।
  • पारंपरिक कारीगरों को महत्वपूर्ण सहायता प्रदान करता है और उनके मूल्यवान कौशल और शिल्प को संरक्षित करने में मदद करता है [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में परियोजनाओं के लिए उच्च सब्सिडी दरें प्रदान करता है [1, 3, 5, 6, 7, 8, 11, 13, 14, 15, 16, 18, 21, 22, 23, 27]।
  • ग्रामीण समुदायों के भीतर स्थानीय उत्पादन को बढ़ावा देता है।

शहरी क्षेत्रों के लिए लाभ:

  • शहरी बेरोजगार युवाओं के लिए स्वरोजगार के अवसर पैदा करता है [2, 3, 5, 7, 9, 10, 11, 13, 15, 16, 17, 18, 19]।
  • शहरी केंद्रों में एमएसएमई के विकास को प्रोत्साहित करता है [3]।
  • सेवा-आधारित व्यवसायों के लिए वित्तीय सहायता प्रदान करता है।
  • शहरी अर्थव्यवस्थाओं के आर्थिक विकास और विविधीकरण में योगदान देता है।

अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न (एफएक्यू)

पीएमईजीपी के लिए कौन आवेदन कर सकता है?
18 वर्ष से अधिक आयु का कोई भी भारतीय नागरिक और कुछ विशिष्ट मानदंडों को पूरा करने वाली संस्थाएँ आवेदन कर सकती हैं [1, 8]।
परियोजनाओं की अधिकतम लागत कितनी है?
विनिर्माण क्षेत्र में ₹50 लाख और सेवा क्षेत्र में ₹20 लाख [1, 5, 8, 9, 11, 14, 15, 16, 20, 21, 24]।
सब्सिडी की दर क्या है?
सामान्य श्रेणी के लिए शहरी में 15%, ग्रामीण में 25% और विशेष श्रेणी के लिए शहरी में 25%, ग्रामीण में 35% [1, 5, 8, 13, 14, 15, 16, 19, 27]।
क्या संपार्श्विक सुरक्षा आवश्यक है?
₹10 लाख तक के ऋण के लिए नहीं [1, 5, 6, 8, 13, 14, 16, 23, 24]।
ऑनलाइन आवेदन कैसे करें?
केवीआईसी की आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से [1, 5, 6, 8, 13, 15, 20]।
आवश्यक दस्तावेज क्या हैं?
आधार कार्ड, पैन कार्ड, परियोजना रिपोर्ट, और अन्य [2, 3, 5, 13, 15, 17, 21, 23]।
चुकौती अवधि क्या है?
3 से 7 वर्ष तक [5, 9, 13, 22]।
ब्याज दर क्या है?
ऋण देने वाले संस्थान के अनुसार [5, 13, 16, 20, 22]।
क्या मौजूदा इकाइयाँ आवेदन कर सकती हैं?
केवल उन्नयन के लिए [5, 11, 14, 15, 16, 17, 21, 25]।
क्या ईडीपी प्रशिक्षण अनिवार्य है?
₹5 लाख से अधिक लागत वाली परियोजनाओं के लिए हाँ [14, 15, 24, 29]।

निष्कर्ष: पीएमईजीपी - आत्मनिर्भरता की ओर एक कदम

पीएमईजीपी लोन योजना उद्यमियों के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर प्रदान करती है। सरकार स्वरोजगार का समर्थन करने के लिए प्रतिबद्ध है। इस योजना का पता लगाएं और अपने व्यावसायिक लक्ष्यों को प्राप्त करें।

पीएमईजीपी लोन सब्सिडी दरें

लाभार्थी श्रेणी परियोजना/इकाई का स्थान सब्सिडी दर (परियोजना लागत का प्रतिशत)
सामान्य शहरी 15%
सामान्य ग्रामीण 25%
विशेष (एससी/एसटी/ओबीसी/अल्पसंख्यक/महिला, भूतपूर्व सैनिक, शारीरिक रूप से विकलांग, एनईआर, पहाड़ी और सीमावर्ती क्षेत्र आदि) शहरी 25%
विशेष (एससी/एसटी/ओबीसी/अल्पसंख्यक/महिला, भूतपूर्व सैनिक, शारीरिक रूप से विकलांग, एनईआर, पहाड़ी और सीमावर्ती क्षेत्र आदि) ग्रामीण 35%

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